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भारत में कोयला भंडार

भारत में कोयला भंडार
Written by Rakesh Kumar

भारत में कोयला भंडार

भारत में कोयला भंडार:- आज की इस पोस्ट के माध्यम से हम आप के साथ भारत में

कोयला भंडार के बारे में  चर्चा करेंगे| भारत में कोयला की खाने

कहां-कहां पर है तथा भारत में कोयला का कितना भण्डार है इन सब के बारे

में विस्तार से पढेंगे?

इससे पहले की पोस्ट में हम आप को भारत का वस्त्र उद्योग के बारे में

विस्तार से बता चुके हैं|

भारत में कोयला भंडार:-

भारत देश पूरी दुनिया  के  खनिज सम्पन्न देशों में गिना जाता है| यहां पर

प्राचीन समय से लेकर आधुनिक  समय तक लगभग सभी प्रकार की चट्टाने पाई जाती है|

ये भारत की खनिज सम्पन्नता का एक मुख्य कारण है |

भारत के धारवाड़ क्रम की चट्टान से अधिकतर धात्विक खनिजों की प्राप्ति होती है|

कोयला भारत के गोंडवाना क्रम की चट्टानों से मुख्य रूप से मिलता है| कोयला का वर्तमान भंडार

भारत में लगभग 285 अरब टन है| भारत का पूरे विश्व में कोयला भंडार का उत्पादन

तीसरे स्थान पर है| दूसरे अग्रणी देश इस सूचि में निम्न प्रकार से है-

1.- चीन

2.- यूनाइटेड स्टेट्स आफ अमेरिका

3.- भारत

निकाले गए कोयला में से भारत में ताप विद्युत  बनाने में 67% कोयला  प्रयोग

किया जाता है|

हमारे भारत देश में कोल इंडिया लिमिटेड के द्वारा कोयला का खनन किया जाता है|

इसकी स्थापना सन् 1975 में की गई थी|

पश्चिम बंगाल के रानीगंज में आधुनिक तरीके से कोयला निकालने का प्रयोग किया

गया था|

भारत में झारखण्ड राज्य में सर्वाधिक कोयला की खाने है|

भारत में शीर्ष तीन कोयला भंडार वाले राज्य हैं-

1.- झारखण्ड

2.- ओड़िशा

3.- छत्तीसगढ़

भारत के प्रमुख कोयला क्षेत्र

आप की जानकारी के लिये हम भारत के प्रमुख कोयला क्षेत्र की

सूचि यहां पर दे रहे हैं-

   राज्य                 कोयले के  क्षेत्र

1.- पश्चिम बंगाल          रानीगंज – यह भारत का सबसे पुराना कोयला क्षेत्र है|

2.- झारखण्ड             झरिया – (सबसे बड़ा), करणपुरा, रामगढ़, बोकारो,

धनबाद, गिरिडीह, डाल्टगंज

3.- मध्यप्रदेश              उमरिया, सतपुरा, कोयलाफील्ड, सिंगरौली, सुहागपुर, जोहला

4.- ओड़िशा               हिमगिरी, रामपुर, तालचोर

5.- आंध्रप्रदेश              सिंगरौली, कन्टापल्ली

6.- छत्तीसगढ़              सोनहट, झिलमिल, हस्दो-अरंड, कोरबा, बिसरमपुर

7.- असम                 जानजी, जयपुर, माकूम, नजीरा

8.- मेघालय               चेरापूँजी, मावलोंग, लैंग्रीन, उमरलोंग, डारंगिरी

9.- अरुणाचल प्रदेश      नाक्मचिक-नामफुक

कोयला के प्रकार:-

कार्बन की मात्रा के आधार पर कोयला चार प्रकार का होता है-

1.- एंथ्रेसाइट:-

कार्बन की मात्रा एंथ्रेसाइट कोयला में 85% से भी अधिक होती है|

केवल कारगील क्षेत्र की चट्टान में ही भारत में एंथ्रेसाइट कोयला पाया जाता है|

2.- बिटुमिनस:-

कार्बन की मात्रा बिटुमिनस कोयला में 55% से  लेकर  65% के बीच में होती है|

बिटुमिनस गोंडवाना युगीन कोयला है तथा भारत का 85% से भी अधिक यही कोयला है|

पुर्वी भारत के चार राज्यों मुख्यत: पश्चिम बंगाल, ओड़िशा, झारखण्ड एवं छत्तीसगढ़

में बिटुमिनस कोयला पाया जाता है|

3.- लिग्नाइट:-

कार्बन की मात्रा लिग्नाइट कोयला में 45% से लेकर 55% के बीच होती है|

लिग्नाइट कोयला को भूरा कोयला भी कहा जाता है|

भारत में सर्वाधिक मात्रा में लिग्नाइट कोयला तमिलनाडु के नेवेली क्षेत्र में पाया जाता है|

इसके अतिरिक्त राजस्थान के पलना में तथा असम के माकूम में भी कुछ मात्रा में

पाया जाता है|

भारत के कोयला उत्पादक क्षेत्र

4.- पीट:-

कार्बन की मात्रा पीट कोयला में 45% से भी कम होती है|

यह कोयला एक निम्न श्रेणी का कोयला कहा जाता है|

ज्यादातर दलदली क्षेत्र में पीट कोयला पाया जाता है|

भारत में अधिकांश कोयला गैर-कोकिंग श्रेणी का पाया जाता है|

कार्बन की मात्रा कोकिंग श्रेणी के कोयला में अधिक होती है तथा

इसमें नमी की मात्रा कम होती है|

कोकिंग श्रेणी के कोयला का प्रयोग लोह-इस्पात उदयोग में किया जाता है|

चीन एवं आस्ट्रेलिया से  भारत कोकिंग कोयला आयात करता है|

भारत में कोयला कितने प्रकार की चट्टानों में पाया जाता है?

भारत में कोयला दो प्रकार की चट्टानों में पाया जाता है-

1.- गोंडवाना की चट्टानों में:-

इन चट्टानों में भारत के कुल कोयला का  98 प्रतिशत भाग पाया जाता है|

इसमें अधिकांश पाया जाने वाला कोयला बिटुमिन श्रेणी का है|

छोटा नागपुर वाले क्षेत्र के 4 राज्यों प्रमुख रूप से ओड़िशा, छत्तीसगढ़,

झारखण्ड तथा पश्चिम बंगाल में  बिटुमिन श्रेणी का कोयला पाया जाता है|

2.- टर्शीयरी चट्टान में:-

इन चट्टान में भारत के कुल कोयला का 2% भाग ही पाया जाता है|

अधिकांश कोयला इसमें एंथ्रेसाइट श्रेणी का पाया जाता है|

कारगिल की टर्शीयरी चट्टान में प्रमुख रूप से एंथ्रेसाइट श्रेणी का कोयला

पाया जाता है|

भारत का सबसे बड़ा कोयला उत्पादक क्षेत्र

 नदी घाटी कोयला क्षेत्र की स्थिति:-

भारत में मुख्य रूप से कोयला दक्षिण भारत की नदी घाटियों के क्षेत्रों में पाया जाता है

जिनका वर्णन निम्न प्रकार से  किया गया है-

1.- दामोदर नदी घटी कोयला क्षेत्र:-

इनका क्षेत्र पश्चिम बंगाल तथा झारखण्ड में फैला है| पश्चिम बंगाल में रानीगंज

कोयला क्षेत्र है| यहीं से भारत देश का 35% से भी ज्यादा कोयला उत्पादित होता है|

झारखण्ड के धनबाद जिले में झरिया कोयला क्षेत्र है, हजारीबाग जिले

में बोकारो कोयला क्षेत्र तथा गिरिडीह का कोयला क्षेत्र स्थित है|

2.- सोन नदी घाटी का कोयला क्षेत्र:-

इसका क्षेत्र छत्तीसगढ़ तथा मध्य प्रदेश में फैला है|

मध्यप्रदेश में ही सोहागपुर कोयला क्षेत्र तथा सिंगरौली कोयला क्षेत्र स्थित है|

छत्तीसगढ़ में रामकोला कोयला क्षेत्र तथा तापमानी कोयला क्षेत्र स्थित है|

3.- महानदी घाटी का कोयला क्षेत्र:-

यह ओड़िशा तथा छत्तीसगढ़ क्षेत्र में फैला है| छत्तीसगढ़ में कोरबा कोयला

क्षेत्र स्थित है|

4.-  ब्राह्मणी नदी घाटी का कोयला क्षेत्र:-

इस के अंतर्गत ओड़िशा का तालचेर क्षेत्र आता है|

5.-  गोदावरी नदी घाटी का कोयला क्षेत्र:-

इस के अंतर्गत आंध्रप्रदेश का सिंगरौनी कोयला क्षेत्र आता है|

 

 

 

 

 

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